मुजफ्फरपुर जंक्शन को वर्ल्ड क्लास रेलवे स्टेशन बनाने का काम 10 अगस्त से शुरू हाे जाएगा। इसी दिन रेलवे अपनी जमीन आरएलडीए काे साैंपेंगी। जमीन मिलने के बाद आरएलडीए भी जंक्शन काे वर्ल्ड क्लास बनाने वाली एजेंसी काे इसी दिन जमीन सुपुर्द कर देगी। इसके बाद कार्यकारी एजेंसी काम शुरू कर देगी। इसकाे लेकर शनिवार काे साेनपुर मंडल के एडीआरएम-2 ने जंक्शन का जायजा लिया।
उन्हाेंने प्लेटफाॅर्म नंबर-8 के उत्तर स्थित पंपू पाेखर की खाली जमीन और समस्तीपुर मंडल के टीटीई कार्यालय के भवन काे दाे दिनाें में खाली करने का निर्देश दिया। जीआरपी बैरक और सीएचआई कार्यालय काे भी खाली करने का निर्देश दिया गया है। आरएलडीए के सूत्राें के मुताबिक, फर्स्ट फेज का काम शुरू हाे जाने के बाद सेकेंड फेज का काम 11 नवंबर से शुरू हाेगा। इसके लिए आरक्षण कार्यालय, पार्सल कार्यालय और यूटीएस हाॅल काे खाली कर कार्यकारी एजेंसी काे साैंपा जाएगा। इन सभी बिल्डिंग काे ताेड़ कर नया भवन बनाया जाएगा। इसकाे लेकर रेलवे ने चरणबद्ध तरीके से 2024 तक की कार्य याेजना तैयार की है। 4 फेज में काम काे पूरा करने का टारगेट रखा गया है।
397 करोड़ होंगे खर्च : साेनपुर मंडल के एडीआरएम-2 ने जंक्शन का लिया जायजा
अब 120 मीटर लंबा एयर काॅनकोर बनेगा, प्लेटफाॅर्म-1 की लंबाई भी 50 मीटर बढ़ेगी
नई डीपीआर के मुताबिक, अब 30 मीटर के बदले 120 मीटर लंबा एयर काॅनकोर बनेगा। वहीं पहले फेज में एक नंबर प्लेटफाॅर्म की लंबाई चंद्रलाेक गुमटी की ओर 50 मीटर बढ़ाई जाएगी। दूसरे फेज में रिजर्वेशन काउंटर से लेकर एएसएम काउंटर तक की वर्तमान बिल्डिंग काे ताेड़ कर काॅनकोर बनाया जाएगा। तीसरे फेज में रेल थाना से आगे एईएन कार्यालय तक ताेड़ कर मल्टीस्टाेरी पार्किंग व अन्य बिल्डिंग बनेगी। सर्कुलेटिंग एरिया में बस पार्किंग के साथ एलिवेटेड राेड का निर्माण रेल थाना के नए बिल्डिंग से मालगाेदाम तक हाेगा।
विश्वस्तरीय होंगी सुविधाएं
फर्स्ट फेज में होगा कंबाइंड टर्मिनल बिल्डिंग का निर्माण
जंक्शन को विश्वस्तरीय बनाने के पहले चरण में प्लेटफाॅर्म नंबर-8 के उत्तर में खाली जमीन पर कंबाइंड टर्मिनल बिल्डिंग बनेगी। इसी टर्मिनल बिल्डिंग से माेतिहारी और सीतामढ़ी की ओर जाने वाली ट्रेनें खुलेंगी। इसकाे लेकर वहां पुराने भवन में चल रहे समस्तीपुर मंडल के टीटीई कार्यालय काे एक नंबर प्लेटफाॅर्म पर स्थित संयुक्त कार्यालय में फिलहाल शिफ्ट किया जाएगा। वहीं सीएचआई कार्यालय काे रेल अस्पताल में शिफ्ट किया जाएगा। इसके अलावे दाे-तीन नंबर प्लेटफाॅर्म के पूर्वी साइड में स्थित पुराने पैनल काे भी खाली करने का निर्देश दिया गया है। उस भवन में संचालित कैरंज एंड वैगन के ट्रेन पासिंग कार्यालय काे एक नंबर प्लेटफाॅर्म पर शिफ्ट किया जाएगा।
पहली डिजाइन खारिज
रेलमंत्री के सुझाव के बाद डीपीआर में हुआ बदलाव
आरएलडीए यानी रेल लैंड डेवलपमेंट अथॉरिटी की ओर से मुजफ्फरपुर जंक्शन को विश्वस्तरीय बनाने के लिए पहले जाे डिजाइन रेल मंत्रालय को भेजी गई थी, अप्रूवल के समय उसे खारिज करते हुए रेलमंत्री अश्विनी वैष्णव ने इसे और विस्तारित करने का सुझाव दिया। रेल मंत्री का मानना था कि मुजफ्फरपुर देश के प्रमुख शहरों में से एक है। यहां आसपास के दर्जनाें जिलाें के अलावा नेपाल से भी बड़ी संख्या में हर दिन यात्री आते-जाते हैं।
साथ ही कपड़ा, लीची व अन्य व्यवसाय के लिए देश भर से व्यापारी आते हैं। जिसके बाद रेलमंत्री के सुझाव पर दाेबारा डीपीआर बनाई गई। पहले 200 कराेड़ की डीपीआर बनाई गई थी, जो अब विस्तारित करने पर 397 कराेड़ की हाे गई।