नेपाल सहित गंडक के जल अधिग्रहण क्षेत्रों में 2 दिनों से रुक-रुककर बारिश हो रही है। बारिश के बाद गंडक बराज से शनिवार की शाम 1.26 लाख क्यूसेक पानी छोड़ा गया, जिससे गंडक के जलस्तर में काफी वृद्धि हुई। जलस्तर में वृद्धि होने के साथ नदी कई जगहों पर उफान पर है।
शास्त्री नगर के पास नदी ओवरफ्लो होकर नगर से सटकर बहने लगी है। ऐसे में शास्त्री नगर के आसपास के लोगों में कटाव का डर एक बार फिर पनपने लगा है। नदी के ओवरफ्लो हो जाने से अभियंताओं की टीम की तैनाती कर दी गई है।
नदी में घर समाने का लोगों को सताने लगा डर
जल संसाधन विभाग के कार्यपालक अभियंता विष्णु देव पासवान परवाना ने कहा कि शास्त्रीनगर के पास नदी के ओवरफ्लो होने से कटावरोधी कार्य में परेशानी हो रही है। बावजूद इसके शास्त्रीनगर के पास स्थिति नियंत्रण में है।
अभियंता शास्त्रीनगर के पास लगातार कैंप कर रहे हैं। सैंड बैग के सहारे कटावरोधी कार्य कराया जा रहा है। स्थानीय लोगों का कहना है प्रतीत हो रहा है कि इस बार नदी के कटाव से उनका घर नहीं बचेगा।
ठकराहां में बढ़ाई गई निगरानी
ठकराहां में जिलाधिकारी दिनेश कुमार व चीफ इंजीनियर एके रंजन के दिशा निर्देशानुसार हरखटोला शिवपुर मुसहरी समेत पीपी तटबंध के ठोकरों की निगरानी की जा रही है। जूनियर इंजीनियरों के नेतृत्व में निगरानी के लिए मजदूरों को लगाया गया है। वहीं, हरखटोला-शिवपुर मुसहरी में एंटीरोजन कार्य पर संवेदक के प्रतिनिधि मजदूरों संग कैंप कर रहे हैं।
सहायक अभियंता ई. निशांत कुमार ने कहा कि हरखटोला शिवपुर मुसहरी में शिफ्ट हुए बेडवार स्टर्डों की मरम्मत करा कर सुदृढ़ कर लिया गया है। नदी के जलस्तर में उतार-चढ़ाव के निमित किसी भी परिस्थिति से निपटने के लिए सैंड बैग का भंडारण कर लिया गया है। मजदूरों की टोली बनाकर जूनियर इंजीनियरों संग निगरानी की जा रही।
INPUT: bhaskar.com