मुजफ्फरपुर-हाजीपुर रेलखंड के भगवानपुर स्टेशन पर ट्रेन के सामने कूदकर जान देने वाले प्रेमी जोड़े में से युवक की पहचान नहीं हो सकी है। प्रेमिका की पहचान तो हुई, लेकिन उसे देखने के लिए कोई नहीं पहुंचा। घटना के 18 घंटे से अधिक बीत जाने के बाद भी जब किसी के परिजन जीआरपी थाने नहीं पहुंचे तो दोनों शवों को पोस्टमार्टम के लिए SKMCH भेज दिया गया।
बता दें कि शनिवार शाम को दोनों ने अवध-असम एक्सप्रेस के सामने कूदकर आत्महत्या कर ली थी। इसके बाद जीआरपी दोनों के शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए लाई थी। बताया जा रहा है कि अगर 72 घंटे बाद भी कोई सुध लेने नहीं आता है तो हिन्दू रीति-रिवाज से पुलिस दोनों का दाह संस्कार कर देगी।
72 घंटे बाद पुलिस कर देगी दाह संस्कार
जीआरपी के प्रभारी थानेदार अजय कुमार मिंज ने बताया कि युवती के पास मिले आधार कार्ड से उसकी पहचान की गई है। परिजनों से संपर्क साधने के लिए सकरा थाना को सूचित किया गया था। छानबीन में पता चला कि उसके माता-पिता नहीं है। फिर गांव में पटीदारों से संपर्क साधा गया। लेकिन 18 घंटे बाद भी युवती का शव देखने कोई नहीं आया।
वहीं, युवक की पहचान नहीं की जा सकी है। दोनों के शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया है। पोस्टमार्टम के बाद शवों को 72 घंटे के लिए सुरक्षित रखा जाएगा। ताकि कोई जान-पहचान वाला आए, तो उन्हें ले जा सके।
प्रेमी के शव पर नीले रंग की चड्डी, प्रेमिका पर थी नारंगी साड़ी
पुलिस ने बताया कि छानबीन के दौरान देखा गया कि युवक के शव पर महज एक नीले रंग का चड्डी थी। जबकि, युवती के ऊपर नारंगी रंग की साड़ी था। इसके अलावा युवती के पास से एक मोबाइल, आधार कार्ड व एक हैंड बैग मिला। जबकि युवक के पास से कुछ बरामद नहीं हो सका। छानबीन में पता चला कि युवती पहले से शादीशुदा है। उसके तीन बच्चे हैं। वह वैशाली के भगवानपुर स्टेशन रोड इलाके में किराए के मकान में रह रही थी।
INPUT: bhaskar